LASIK आई सर्जरी कैसे काम करती है: स्पष्ट दृष्टि के पीछे का विज्ञान

LASIK सर्जरी तेजी से दृष्टि सुधारती है, जिससे मरीज तुरंत परिणाम देख सकते हैं। यह प्रक्रिया दर्द रहित है, जल्दी पूरी होती है, और रिकवरी समय भी कम होता है। चश्मे या लेंस पर निर्भरता कम करना इसका प्रमुख लाभ है।

Jan 13, 2025 - 22:13
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LASIK आई सर्जरी कैसे काम करती है: स्पष्ट दृष्टि के पीछे का विज्ञान

LASIK (Laser-Assisted in Situ Keratomileusis) एक अत्यधिक लोकप्रिय और प्रभावी सर्जरी है, जो दृष्टि समस्याओं जैसे कि मायोपिया (नजदीकी दृष्टि), हाइपरोपिया (दूरदृष्टि), और ऐस्ट्रिग्मेटिज़्म (असमान आकार की कॉर्निया) को सुधारने के लिए की जाती है। अगर आप यह जानने के इच्छुक हैं कि LASIK कैसे काम करता है और यह दृष्टि को कैसे सुधारता है, तो इसके पीछे का विज्ञान समझना दिलचस्प और जानकारीपूर्ण हो सकता है। इस लेख में, हम LASIK सर्जरी के कार्य करने के तरीके, इसके तकनीकी पहलुओं और इसे चश्मे या कॉन्टैक्ट लेंस के बिना स्पष्ट दृष्टि प्राप्त करने के लिए क्यों एक गेम-चेंजर माना जाता है, के बारे में विस्तार से बताएंगे।

LASIK सर्जरी क्या है?

LASIK एक न्यूनतम इनवेसिव (कम आक्रामक) सर्जरी है, जिसे आंख के कॉर्निया (आंख की पारदर्शी, गुंबद के आकार की सतह) के आकार को बदलने के लिए किया जाता है ताकि दृष्टि में सुधार हो सके। सामान्यतः, LASIK का उद्देश्य यह है कि आपकी आंख का फोकस सही स्थान पर पहुंचे, जिससे आपको बिना चश्मे या कॉन्टैक्ट लेंस के अच्छी दृष्टि मिल सके। सर्जरी के दौरान, डॉक्टर कॉर्निया की सतह पर लेजर तकनीक का उपयोग करके उसके आकार को ठीक करते हैं, ताकि आप आसानी से देख सकें।

LASIK सर्जरी कैसे काम करती है?

LASIK सर्जरी के दौरान, एक विशेष लेजर का उपयोग करके आंख के कॉर्निया के आकार को सही किया जाता है, जिससे आपकी दृष्टि सुधारती है। यह प्रक्रिया बिल्कुल सुरक्षित और प्रभावी मानी जाती है, और इसमें कुछ ही मिनट लगते हैं। आइए इसे सरल तरीके से समझते हैं:

1. आंख की संरचना का अध्ययन

LASIK सर्जरी से पहले, डॉक्टर आपकी आंखों की संरचना का विस्तृत परीक्षण करते हैं। इसके लिए, एक उच्च तकनीकी उपकरण से आपकी आंख के आकार, आकार और हर पहलु को मापा जाता है। इन मापों को सर्जरी के दौरान सही दिशा में बदलाव करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है।

2. कॉर्निया की ऊपरी परत उठाना

LASIK सर्जरी में, सबसे पहले डॉक्टर आंख की कॉर्निया की सबसे बाहरी परत (जो एक पतला फ्लैप है) को हल्के से उठाते हैं। यह फ्लैप कॉर्निया के भीतर की परतों तक पहुंचने का रास्ता खोलता है।

3. लेजर तकनीक का उपयोग

इसके बाद, एक विशिष्ट लेजर, जिसे Excimer Laser कहा जाता है, का उपयोग किया जाता है। यह लेजर कॉर्निया के मध्य और निचले हिस्से को पुनः आकार देने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। यह प्रक्रिया बहुत ही सटीक होती है और आंख के आकार के अनुसार लेजर का इस्तेमाल किया जाता है। लेजर के द्वारा कॉर्निया की ऊपरी परत को हटाकर या उसकी संरचना में हल्के बदलाव किए जाते हैं ताकि दृष्टि में सुधार हो सके।

  • मायोपिया (नजदीकी दृष्टि) में, लेजर को कॉर्निया को फ्लैट करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। यह दृष्टिकोण आंख की फोकस प्वाइंट को सही करता है, जिससे निकट की चीजों को देखना आसान हो जाता है।

  • हाइपरोपिया (दूरदृष्टि) में, लेजर कॉर्निया को अधिक गोल आकार में बदलता है ताकि दूर की वस्तुएं स्पष्ट रूप से दिखाई दें।

  • ऐस्ट्रिग्मेटिज़्म में, लेजर का उपयोग कॉर्निया को पुनः आकार देने के लिए किया जाता है ताकि उसकी असमान सतह को सामान्य किया जा सके और दृष्टि में सुधार हो सके।

4. कॉर्निया फ्लैप को पुनः जगह पर रखना

सर्जरी के बाद, डॉक्टर कॉर्निया की उठाई हुई परत (फ्लैप) को वापस उसकी स्थिति में रख देते हैं। चूंकि यह परत पहले से ही बहुत पतली होती है और सर्जरी के बाद उसकी पुनः स्थिति में रखने की आवश्यकता नहीं होती, तो यह अपनी जगह पर सुरक्षित रूप से बैठ जाती है। इस प्रक्रिया के बाद, आपकी आंख में कोई भी बाहरी सिलाई की आवश्यकता नहीं होती है।

LASIK सर्जरी के लाभ

LASIK सर्जरी के कई फायदे हैं, जो इसे एक पसंदीदा विकल्प बनाते हैं। इसके लाभ में शामिल हैं:

  • तेज़ और आसान प्रक्रिया – LASIK सर्जरी एक बहुत ही त्वरित प्रक्रिया है और आमतौर पर इसे केवल 15 से 20 मिनट में पूरा किया जा सकता है। सर्जरी के तुरंत बाद, रोगी को अस्पताल से वापस जाने की अनुमति मिल जाती है।

  • स्थायी परिणाम – LASIK सर्जरी का परिणाम स्थायी होता है, और एक बार सर्जरी के बाद, आपको चश्मे या कॉन्टैक्ट लेंस की आवश्यकता नहीं होती।

  • कम समय में रिकवरी – सर्जरी के बाद अधिकांश रोगी अगले दिन सामान्य गतिविधियां शुरू कर सकते हैं। कुछ हल्की जलन या धुंधली दृष्टि महसूस हो सकती है, लेकिन यह कुछ दिनों में ठीक हो जाती है।

  • दृष्टि में तुरंत सुधार – LASIK सर्जरी के बाद, बहुत से लोग तुरंत अपनी दृष्टि में सुधार महसूस करते हैं। कुछ मामलों में, दृष्टि उसी दिन में सामान्य हो सकती है।

LASIK सर्जरी का विज्ञान

LASIK सर्जरी के विज्ञान को समझना आपके लिए बेहद महत्वपूर्ण हो सकता है। सर्जरी का मुख्य उद्देश्य आंख के कॉर्निया के आकार को बदलकर, लाइट (रौशनी) को सही तरीके से रेटिना (आंख की परत) पर फोकस करना है। जब लाइट रेटिना पर ठीक से फोकस होती है, तो आपको स्पष्ट दृष्टि प्राप्त होती है। यह वही कार्य है जिसे LASIK सर्जरी सटीक तरीके से करती है।

  • कॉर्निया का आकार – LASIK का मुख्य कार्य कॉर्निया के आकार को सही करना है, क्योंकि कॉर्निया के आकार के कारण ही आंखों की दृष्टि खराब होती है।

  • लेजर का प्रभाव – Excimer लेजर का उपयोग काफी सटीकता से किया जाता है। यह लेजर केवल आंख की सतह पर काम करता है, जिससे आसपास के ऊतकों को कोई नुकसान नहीं होता। यह लेजर टिश्यू को अत्यंत सटीक तरीके से काटता है, जिससे बिना किसी जटिलता के दृष्टि में सुधार हो जाता है।

  • दृष्टि का सही होना – LASIK सर्जरी के बाद, आंखें लाइट के सही फोकस प्वाइंट पर आने लगती हैं, और यह दृष्टि में सुधार करता है।

LASIK सर्जरी के बाद देखभाल

LASIK सर्जरी के बाद, उचित देखभाल जरूरी होती है ताकि आपकी आंखें पूरी तरह से स्वस्थ हो सकें और कोई दुष्प्रभाव न हो। कुछ सामान्य देखभाल में शामिल हैं:

  • सर्जरी के बाद, आंखों को न रगड़ें या न छुएं।

  • डॉक्टर द्वारा निर्धारित आंखों की दवाइयों का सेवन करें।

  • आँखों में सूजन और जलन की स्थिति में, डॉक्टर से परामर्श करें।

  • सीधे धूप से बचें और सनग्लासेस का इस्तेमाल करें।

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